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सड़क हादसे के बाद काम नहीं कर रहा था युवक का हाथ, नर्व ट्रांसफर कर की गई सफल सर्जरी

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बरेली, उत्तर प्रदेश दिल्ली के पटपड़गंज स्थित मैक्स सुपर स्पेशलिटी अस्पताल में शाहजहांपुर के एक युवा लड़के को नया जीवन मिला है. इस लड़के का एक्सीडेंट हो गया था, जिसमें उसकी वो नस डैमेज हो गई थी जो स्पाइनल कॉर्ड से कंधे, हाथ और बांह में सिग्नल भेजती है. इसके कारण लड़के का बायां कंधा और कोहनी ठीक से काम नहीं कर रही थी. इस मरीज का नाम बदला हुआ नाम कुलदीप शर्मा है. एक सड़क हादसे में कुलदीप को काफी चोटें आईं, उसे सिर और पेट में काफी गहरी चोट आई. इस कारण वो बेसुध हो गया. तुरंत ही कुलदीप को पटपड़गंज के मैक्स सुपर स्पेशलिटी अस्पताल लाया गया. यहां इमरजेंसी केयर यूनिट ने मरीज को तुरंत इलाज दिया और उसे होश में लाने का काम किया. लेकिन सर्जरी के बाद मरीज को दिक्कत हो रही थी. वो बाईं कोहनी नहीं हिला पा रहे थे, साथ ही उनका बायां कंधा भी काम नहीं कर रहा था. इसके बाद इलाज के लिए प्लास्टिक सर्जरी विभाग में भर्ती किया गया.
मैक्स सुपर स्पेशलिटी अस्पताल पटपड़गंज में प्लास्टिक सर्जरी विभाग के प्रिंसिपल कंसल्टेंट डॉ. प्रदीप कुमार सिंह ने मरीज के बारे में जानकारी देते हुए कहा, ‘जब इमरजेंसी यूनिट से मरीज को हमारे विभाग में ट्रांसफर किया गया तो हमने उसकी गहन जांच पड़ताल कराई. एमआरआई भी कराया गया, जिसमें सामने आया कि मरीज के अपर ब्रांचियल प्लेक्सस यानी स्पाइनल कॉर्ड से से कंधे, हाथ और बांह में सिग्नल भेजने वाली नस डैमेज हो गई थी, जिसके कारण बांया हाथ और उसी हाथ की कोहनी में मूवमेंट नहीं हो पा रहा था. इस स्थिति को ठीक करने के लिए मरीज का ऑपरेशन किया गया. ये सर्जरी सफल रही और बाद में भी मरीज को किसी किस्म की कोई दिक्कत नहीं हुई. अब उनकी फिजियोथेरेपी की जा रही है.’
पिछले कुछ वर्षों में सड़क हादसों के कारण ब्रांचियल प्लेक्सस इंजरी के मामले काफी बढ़ गए हैं. इस तरह की चोटें आने पर पीड़ित के हाथ काम करना बंद कर देते हैं और अगर वो बेहोशी की हालत में हो तो कई बार ऐसे पेशंट पॉलीट्रोमा में भी चले जाते हैं. डॉ. प्रदीप कुमार सिंह ने बताया, ‘’सड़क हादसों के कारण इस तरह की इंजरी के मामले बहुत तेजी से बढ़ते हुए पाए गए हैं. लेकिन इसके बेहतर इलाज भी हैं. नए ट्रीटमेंट मेथड्स का सही वक्त पर इस्तेमाल करने से सफल सर्जरी की जा रही हैं. समय पर इलाज और सर्जरी के बाद सही तरीके से मरीज की केयर व फिजियोथेरेपी से मरीज की हालत को सुधारा जा सकता है.’’
भारत में इस तरह के केस तो काफी बढ़ रहे हैं, लेकिन एडवांस तकनीक की मदद से इलाज देने की व्यवस्था कम ही अस्पतालों में है. मैक्स सुपर स्पेशलिटी अस्पताल पटपड़गंज उन अस्पतालों में है, जहां रोड एक्सीडेंट के बाद इस तरह की समस्याओं से ग्रसित मरीजों का सफल व सुरक्षित सर्जरी से इलाज किया जाता है

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