कलाकारों ने पर्यावरण की सुरक्षा के लिए अपनाईं ये आदतें

मुस्कान सिंह

वल्र्ड अर्थ डे हर साल 22 अप्रैल को मनाया जाता है, ताकि प्रकृति को बनाये रखने और भविष्य के लिये अपनी धरती को स्वस्थ बनाने के महत्व पर जागरूकता फैलाई जा सके। एण्डटीवी के कलाकार मिक्की डुडाने (वरूण शर्मा, ‘दूसरी माँ’), योगेश त्रिपाठी (दरोगा हप्पू सिंह, ‘हप्पू की उलटन पलटन’) और शुभांगी अत्रे (अंगूरी, ‘भाबीजी घर पर हैं’) हमारी धरती और उसके संसाधनों की सुरक्षा के तरीके और सुझाव बता रहे हैं। मिक्की डुडाने, यानि ‘दूसरी माँ‘ के वरुण शर्मा ने कहा, ‘‘पर्यावरण की सुरक्षा और जागरूकता बढ़ाने के लिये जीवनशैली में कुछ आसान से बदलाव जरूर करने चाहिये। मैं लोगों से जितना हो सके, रिसाइकल और रियूज करने का आग्रह करता हूँ, ताकि प्राकृतिक संसाधनों को बचाया जा सके। प्लास्टिक के इस्तेमाल से बचें और दोबारा इस्तेमाल होने योग्य थैलियों का उपयोग करें। मैं यह भी सुनिश्चित करता हूँ कि अनावश्यक रूप से कोई भी प्लास्टिक का कचरा या पर्यावरण को नुकसान पहुँचाने वाला दूसरा कचरा न बने। मैं चाहता हूँ कि लोग प्रकृति पर थोड़ा ज्यादा ध्यान दें, क्योंकि हम प्रकृति को बचाने के लिये आज जो करते हैं, उससे हमें वह पर्यावरण मिलेगा, जिसकी हमें चाहत है।’’

‘हप्पू की उलटन पलटन‘ के दरोगा हप्पू सिंह, यानि योगेश त्रिपाठी ने कहा, ‘‘पर्यावरण की सुरक्षा के लिये प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण जरूरी है। मैं अपने बेटे दक्षेश को हर संभव तरीके से पानी और बिजली बचाने की सीख देता हूँ। मैं उसे वह छोटे-छोटे उपाय भी बताता हूँ, जिनका पर्यावरण पर ठोस प्रभाव हो सकता है। हमने पानी बचाने के लिये अपने घर के कुछ नियम बनाये हैं, जैसे कि कपड़ों को ठंडे पानी में धोना, नहाने के बजाए शॉवर लेना और मंजन करते समय पानी नहीं बहने देना। इसके अलावा हम सब्जियाँ और फल धोने में इस्तेमाल होने वाला पानी ही अपने घर के पौधों में डालते हैं। इस दिन मैं अपने सभी प्रशंसकों से पानी और जिन्दगी को बचाने की अपील करता हूँ।’’ ‘भाबीजी घर पर हैं‘ की अंगूरी, यानि शुभांगी अत्रे ने कहा, ‘‘ऑर्गेनिक खेती के फायदे समझने के बाद मैंने फलों के एक खेत पर काम शुरू किया और अमरूद, चीकू, आम, कटहल और जामुन महाराष्ट्र में अपने फार्महाउस पर उगाये। खेती ने मुझे प्रकृति के साथ ज्यादा कनेक्ट किया है और मैं जब भी शूटिंग नहीं कर रही होती हूँ, अपना ज्यादातर वक्त खेती को देती हूँ। सच कहूं तो, ऑर्गेनिक खेती कोई नई चीज नहीं है। इसका मतलब दशकों पुराने उस वक्त में लौटने से है, जब खेती हानिकारक रसायनों या कीटनाशकों के बिना होती थी। इस अर्थ डे पर मैं ज्यादा पेड़ लगाने और ऑर्गेनिक खेती को चुनने के लिये लोगों का हौसला बढ़ाना चाहती हूँ।’’ 

देखिये ‘दूसरी माँ’ रात 8:00 बजे, ‘हप्पू की उलटन पलटन’ रात 10:00 बजे और ‘भाबीजी घर पर हैं’ रात 10:30 बजे, हर सोमवार से शुक्रवार केवल एण्डटीवी पर

Loading

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Translate »