लखनऊ: विश्व मानसिक स्वास्थ्य सप्ताह के अवसर पर भारतीय शिक्षा शोध संस्थान, लखनऊ में संस्थान के अध्यक्ष प्रो सुरेंद्र कुमार द्विवेदी के निर्देशन में लखनऊ यूनिवर्सिटी के परास्नातक (शिक्षाशास्त्र) के छात्रों के लिए मानसिक स्वास्थ्य जागरूकता कार्यशाला का आयोजन किया गया जिसमें मुख्य वक्ता के रूप में वरिष्ठ मनोवैज्ञानिक व परामर्शदाता एआरटीसी, एसएस हॉस्पिटल, आईएमएस, काशी हिंदू विश्वविद्यालय डॉ मनोज कुमार तिवारी ने छात्रों को मानसिक रूप से स्वस्थ एवं अस्वस्थ व्यक्तियों के लक्षणों को विस्तार से बताते हुए मानसिक रूप से स्वस्थ रहने के उपायों पर चर्चा किया उन्होंने छात्रों को आत्महत्या के कारण, आत्महत्या के विचार रखने वाले व्यक्तियों के लक्षण एवं उसके निवारण के उपायों पर चर्चा किया। उन्हें अध्ययन कौशल के बारे में भी छात्रों को बताया ताकि वे कम समय में ज्यादा सीखकर उच्च सफलता अर्जित कर सके।
सत्र के अंत में डॉ तिवारी ने छात्रों को रिलैक्सेशन एक्सरसाइज का अभ्यास कराया ताकि वे तनाव के नकारात्मक प्रभाव से अपने आप को बचाकर न केवल मानसिक रूप से स्वस्थ रहें बल्कि राष्ट्र के उत्थान में अपना सर्वोत्तम योगदान देने में सक्षम है। इस अवसर पर डॉ भानु प्रताप सिंह शोध मनोवैज्ञानिक, भारतीय शिक्षा शोध संस्थान, लखनऊ ने इस अवसर पर कहा कि छात्रों को अपना लक्ष्य निर्धारित करने से पूर्व अपनी बौद्धिक क्षमता, रुचि एवं व्यक्तित्व गुणों की पहचान किए बिना अतार्किक रूप से लक्ष्य निर्धारण छात्रों में तनाव का कारण बनता है। छात्रों के अच्छे मानसिक स्वास्थ्य में, अभिभावक, शिक्षक व साथियों के व्यवहार की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। कार्यक्रम का संचालन तथा धन्यवाद ज्ञापन छात्र श्री अभिषेक शर्मा ने किया।