उपराष्ट्रपति ने नागरिकों से जल संरक्षण को दैनिक जीवन का अभिन्न अंग बनाने की अपील की; कहा-जन आंदोलन से जल आंदोलन को गति मिलेगी

जल संरक्षण

उपराष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़ ने आज सभी नागरिकों से जल संरक्षण को अपने दैनिक जीवन का अभिन्न अंग बनाने की अपील की ताकि इसे जन आंदोलन की भावना के माध्‍यम से जल आंदोलन के रूप में गति दी जा सके।

नई दिल्ली के विज्ञान भवन में आज चौथे राष्ट्रीय जल पुरस्कार प्रदान करने के अवसर पर अपने संबोधन में उपराष्ट्रपति ने देश की पारंपरिक जल संचयन संरचनाओं जैसे कि जोहड़ों (तालाबों) को तीन आर अर्थात “कम उपयोग, पुन: उपयोग और पुन: चक्रण” के माध्‍यम से नए सिरे से प्रतिबद्धता के साथ पुनर्जीवित करने का आह्वान किया।”

-उपराष्ट्रपति ने जनप्रतिनिधियों से जल संरक्षण को प्राथमिकता देने और उदाहरण प्रस्तुत करने का आह्वान किया-

जल संसाधन प्रबंधन के क्षेत्र में अनुकरणीय कार्य के लिए विजेताओं को बधाई देते हुए उपराष्ट्रपति ने पंचायत, राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर सभी जनप्रतिनिधियों से जल संरक्षण को प्राथमिकता देने और इस क्षेत्र में उदाहरण प्रस्‍तुत करने का आह्वान किया।

उपराष्ट्रपति ने राज्य के नीति निर्देशक सिद्धांतों और मौलिक कर्तव्यों जैसे संवैधानिक प्रावधानों पर ध्यान आकर्षित करने के साथ-साथ जल और पर्यावरण के संरक्षण पर जोर देते हुए इसके परिवर्तनकारी प्रभावों का उल्‍लेख किया। उन्‍होंने कहा कि जल जीवन मिशन जैसी सरकारी पहलों का आम लोगों के जीवन पर महत्‍वपूर्ण रूप से प्रभाव पड़ रहा है।

उपराष्ट्रपति ने कहा कि जल संरक्षण हमेशा से भारत की सभ्यतागत प्रकृति का एक अभिन्न पहलू रहा है और यह प्रत्येक नागरिक की जिम्मेदारी है कि वह प्रकृति के उपहारों का बुद्धिमता से उपयोग सुनिश्चित करे। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि प्राकृतिक संसाधनों का उपयोग हमारी इष्टतम आवश्यकता के अनुरूप होना चाहिए।

-प्रकृति का संरक्षण भारत के सभ्यतागत लोकाचार का एक अभिन्न अंग है- उपराष्ट्रपति-

एक प्रतीकात्मक जल कलश समारोह के रूप में उपराष्ट्रपति द्वारा उद्घाटन किए गए चौथे राष्ट्रीय जल पुरस्कार समारोह में 11 श्रेणियों में 41 विजेताओं को सम्मानित किया गया।

उपराष्ट्रपति ने जल संरक्षण के संदेश को फैलाने के लिए राष्ट्रीय जल मिशन के शुभंकर- एनिमेटेड चरित्र पीकू की दूरदर्शन पर प्रसारित होने वाली एक लघु फिल्म का भी उद्घाटन किया।

इस अवसर पर केंद्रीय जल शक्ति मंत्री श्री गजेंद्र सिंह शेखावत, केन्‍द्रीय जल शक्ति और खाद्य प्रसंस्करण उद्योग राज्य मंत्री श्री प्रह्लाद सिंह पटेल, केंद्रीय जल शक्ति और जनजातीय कार्य राज्य मंत्री श्री बिश्वेश्वर टुडू, जल शक्ति मंत्रालय के जल संसाधन, नदी विकास और गंगा संरक्षण विभाग के सचिव श्री पंकज कुमार और जल शक्ति मंत्रालय के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।

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