भारत एक बार फिर वैश्विक आर्थिक मंच पर अपनी प्रभावशाली मौजूदगी दर्ज कराने को तैयार है। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) की नवीनतम ‘वर्ल्ड इकॉनोमिक आउटलुक’ (अप्रैल 2025 संस्करण) के अनुसार, भारत आने वाले दो वर्षों में दुनिया की सबसे तेज़ गति से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था बना रहेगा। रिपोर्ट के अनुसार, भारत की जीडीपी वृद्धि दर 2025 में 6.2% और 2026 में 6.3% रहने की संभावना है, जो समान श्रेणी की अन्य अर्थव्यवस्थाओं की तुलना में कहीं अधिक मजबूत है।

IMF ने हालांकि वैश्विक व्यापार तनाव और अनिश्चितताओं के कारण 2025 के लिए अपने पूर्वानुमान में कुछ कटौती की है, लेकिन इसके बावजूद भारत की आर्थिक तस्वीर मजबूत बनी हुई है। यह न केवल भारत के व्यापक आर्थिक ढांचे की मजबूती को दर्शाता है, बल्कि यह भी साबित करता है कि भारत जटिल अंतरराष्ट्रीय परिस्थितियों में भी स्थायित्व बनाए रखने की क्षमता रखता है।
भारत की यह मजबूती, IMF के अनुसार, इसे वैश्विक आर्थिक विकास के एक प्रमुख इंजन के रूप में स्थापित करती है। IMF की यह रिपोर्ट साल में दो बार जारी होती है और यह विश्व अर्थव्यवस्था की दिशा को समझने का एक अहम माध्यम मानी जाती है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि वैश्विक अर्थव्यवस्था लगातार झटकों के बाद अब संतुलन की स्थिति में प्रवेश कर रही है, लेकिन वृद्धि की गति अभी भी सीमित है।
इसके विपरीत, भारत का आर्थिक परिदृश्य अपेक्षाकृत स्थिर और उज्ज्वल है। रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत का सतत विकास ग्रामीण क्षेत्रों में मजबूत निजी खपत से प्रेरित है। जब अन्य अर्थव्यवस्थाएं अनिश्चितताओं से जूझ रही हैं, तब भारत का लचीलापन इसकी वैश्विक नेतृत्व क्षमता को और मजबूत करता है।
जहाँ IMF ने चीन की 2025 की जीडीपी वृद्धि दर को घटाकर 4.0% और अमेरिका की वृद्धि दर को 1.8% कर दिया है, वहीं भारत की गति ने उसे इन दोनों प्रमुख वैश्विक खिलाड़ियों से आगे कर दिया है। IMF का अनुमान है कि भारत अगले दो वर्षों तक वैश्विक विकास में अग्रणी भूमिका निभाता रहेगा।
भारत की यह उपलब्धि उसके मज़बूत इन्फ्रास्ट्रक्चर, रणनीतिक सरकारी पहलों, नवाचार, और वित्तीय समावेशन में सुधारों का प्रतिफल है। यही नहीं, भारत ने यह भी सिद्ध किया है कि वह वैश्विक आर्थिक दिशा को न केवल प्रभावित कर सकता है, बल्कि उसे नया आकार भी दे सकता है।
इस व्यापक आर्थिक मूल्यांकन से यह स्पष्ट होता है कि भारत न केवल अपने लिए, बल्कि विश्व अर्थव्यवस्था के लिए भी एक उज्ज्वल भविष्य की नींव रख रहा है। IMF की रिपोर्ट भारत के आर्थिक लचीलापन और इसकी वैश्विक नेतृत्व क्षमता को फिर से प्रमाणित करती है।
Source: IMF (International Monetary Fund)